रविवार, 26 सितंबर 2010

त्रिस्तरीय पंचायती चुनाव में हुए दोहरे हत्याकाण्ड से थर्राया पूरा जनपद,

बाराबंकी।जनपद मुख्यालय से सटे बड़ेल ग्राम पंचायत क्षेत्र में बीती मध्य रात्रि लखपेड़ा बाग मोहल्ले में बड़ेल पुलिस चैकी से मात्र आधे फलांग की दूरी पर प्रधान पद के प्रत्याशी विवेक मिश्रा उर्फ जीतू मिश्रा तथा क्षेत्र पंचायत सदस्य पद के प्रत्याशी जयवीर सिंह भदौरिया की जघन्य हत्या क्षेत्र पंचायत सदस्य पद के एक अन्य प्रत्याशी सरोज सिंह के आवास के निकट गोलियां मार कर उन्हे छलनी करते हुए कर दी गयी।पुलिस द्वारा अभी तक कोई भी गिरफ्तारी न कर पाने की बात कही जा रही है।जबकि विश्वस्त सूत्रों से प्राप्त जानकारी के अनुसार घटना के लिए आरोपित पाॅच अभियुक्तों में से दो की गिरफ्तारी पुलिस कर चुकी है।ताबड़तोड़ हुई फायरिंग से न केवल बड़ेल बल्कि पूरे जनपद के वह क्षेत्र जहाॅ से अपराधिक प्रवृत्ति के प्रत्याशी चुनाव लड़ रहे है,में बड़े पैमाने पर दहशत का माहौल व्याप्त हो गया है।फैजाबाद रेन्ज राजेश राय ने देर शाम घटना स्थल का मुआयना करके पुलिस अधीक्षक के साथ मीटिंग की और कहा कि अपराधियों पर कड़ा शिकंजा कसा जाएगा।
 जनपद मुख्यालय से सटे बड़ेल ग्राम सभा क्षेत्र जिस पर पिछले दस वर्षो से राजेश प्रताप सिंह उर्फ राजू प्रधान का वर्चस्व चला आ रहा था को इस बार सीधी टक्कर उन्हीे के अंदाज में एक हिस्ट्रीशीटर अपराधी जीतू मिश्रा, जिसके ऊपर हत्या के प्रयास,वसूली तथा लूट व गैंगस्टर एक्ट के लगभग डेढ दर्जन मुकदमें दर्ज थे,दे रहा था।जीतू मिश्रा को जहाॅ एक ओर उसकी अपनी ब्राहमण बिरादरी का समर्थन प्राप्त था तो वहीं उन व्यक्तियों का भी समर्थन उसे मिल रहा था जो राजू प्रधान से किसी न किसी कारण नाराज थे।
 बीती मध्य रात्रि सरोज सिंह का फोन जयवीर सिंह भदौरिया के पास आता है, जिसमें उससे यह कहा जाता है कि 'वह भी क्षत्रिय है और मैं भी क्षत्रिय हॅू क्यों आपस में टकराते हो घर पर आ जाओे तो मिल बैठकर बात हो जाए।अपने साथ जीतू मिश्रा को भी लेते आना '। जीतू मिश्रा के पिता राजेन्द्र नाथ मिश्रा के अनुसार जीतू को अपने साथ लेकर जयवीर अपने तीन अन्य साथियों समेत दो मोटर साइकिलों से सरोज सिंह के घर गया।जीतू और जयवीर सरोज सिंह के घर में चले गए जबकि अपने तीनों साथियांे को बाहर खड़ा रखा।थोड़ी देर पश्चात ही ताबड़तोड़ फायरिंग की आवाज सुनकर तीनोे साथी भाग खड़े हुए,परन्तु जयवीर व जीतू को असलहो से लैस व्यक्तियों ने गोलियां दागकर जयवीर को तो सरोज के घर से मात्र दस बारह कदम पर ढेर कर दिया,परन्तु जीतू अपनी जान बचाकर गोली खाने के बावजूद भागा हमलावरों ने उसे भागते हुए कम से कम तीन असलहो से ताबड़तोड़ फायरिंग करते हुए दौड़ाया और जब एक गोली उसके पैर में लगी और दूसरी उसकी पीठ में तो वह लखपेड़ा बाग बड़ेल रोड पर राम सेवक यादव स्मा0इं0कालेज के सामने गिर पड़ा।हमलावरों ने उसके करीब पहुॅचकर एक गोली उसके दाहिने हाथ के ऊपरी हिस्से में मार दी तो दूसरी सीने में और तीसरी कनपटी में।यह तीनो गोलिया सटाकर मारी गयी जिसकी पुष्टि पोस्टमार्टम रिपोर्ट से भी हो रही है।जीतू का भी काम तमाम हो गया।
 इस जघन्य घटना के घटित होने के पश्चात पूरे क्षेत्र में सनसनी फैल गयी लोगो ने अपने घरो के अन्दर की बत्तियां तक बुझा दी पुलिस को सूचना जीतू मिश्रा के पिता तथा वादी मुकदमा राजेन्द्र नाथ मिश्रा द्वारा दी गयी जिस पर तत्परता से कार्यवायी करते हुए इंस्पेक्टर कोतवाली जितेन्द्र गिरी,क्षेत्राधिकारी नगर दीपेन्द्र चैधरी,अपर पुलिस अधीक्षक उत्तरी रमाकान्त प्रसाद व दक्षिणी श्रीपर्णा गांगुली तथा स्वयं पुलिस अधीक्षक नवनीत कुमार राणा मौके पर पहुॅचे और घटना स्थल पर पड़े दोनो शवो को अपने कब्जे में लेकर लाशो को सील कराकर पोस्टमार्टम कक्ष में भेज दिया।उसके बाद अपराधियों की तलाश शुरु हुई।श्री राणा के नेतृत्व में सबसे पहले मृतक जीतू मिश्रा के घर पहुॅचकर उसके परिजनोें से आवश्यक जानकारी प्राप्त की,उसके बाद जब उन्हे यह सूचना मिली कि क्षेत्र पंचायत सदस्य पद के प्रत्याशी सरोेज सिंह मूल निवासी ग्राम शेखपुर बबुरिहा थाना सतरिख जहाॅ के राजू प्रधान भी निवासी है,के द्वारा बातचीत के लिए मृतको को अपने घर बुलाया गया था तो पुलिस ने सरोज के घर पर दबिश दी जहाॅ सरोज के पिता जो एक अवकाश प्राप्त शिक्षक है,उसकी माता,पत्नी माधुरी सिंह तथा तीन पुत्रियां मिली।पुलिस टीम ने सरोज सिंह के घर के चप्पे की जब तलाशी ली तो एक अवैध तमंचा 315 बोर एक लाइसेन्सी रिवाल्वर जो कि सरोज सिंह की पत्नी माधुरी सिंह के नाम है।एक 315 बोर राइफल काफी मात्रा में 315 के जिन्दा कारतूस,32 बोर रिवाल्वर के कारतूस तथा 12 बोर बंदूक के कारतूस मिले।पुलिस के लाख पूछने पर भी सरोज सिंह के परिजनों से कोई सुराग घटना के सम्बन्ध में नही मिला।पुलिस के अनुसार घटना स्थल पर मिले कारतूस के खोको में 315 बोर व 9एम0एम0 व 32 बोर रिवाल्वर के खोके शामिल थे।
 प्रातःचुनावी माहौल में हुए इस दोहरे हत्याकाण्ड की खबर जंगल की आग की तरह पूरे जनपद में दौड़ गयी और जीतू मिश्रा के समर्थको का अपार समूह उसके घर पहुॅच गया,जहाॅ रोना पीटना मचा हुआ था।इसी प्रकार जयवीर सिंह भदौरिया जो मूलतः ग्राम नीन्दनपुर थाना सतरिख का निवासी है और वर्तमान नगर कोतवाली स्थित सुभाष नगर मोहल्ले में रहता था, के घर भी उसके समर्थको का सिलसिला प्रारम्भ हो गया। देखते ही देखते पोस्टमार्टम हाउस पर सैकड़ो लोगो का काफिला गमगीन तथा आक्रोशित अवस्था मे एकत्र हो गया।पुलिस ने भी स्थिति से निपटने के लिए सुरक्षा के कड़े प्रबन्ध कर लिए।शाम को दोनो शवो का अंतिम संस्कार क्रमशः नीन्दनपुर मेें जयवीर का तथा कमरियाबाग शमशान घाट में जीतू मिश्रा का कर दिया गया।
 इस घटना के सम्बन्ध में मजेदार बात यह है कि नामजद किए गए पाॅच अभियुक्तो क्रमशः राजेश प्रताप सिंह उर्फ राजू प्रधान,सरोज सिंह,मनोज सिंह,बलराम ंिसंह,तथा तरुण सिंह में से लगभग सभी के पास लाइसेन्सी असलहे बावजूद उनके अपराधिक इतिहास के है,जिनके निरस्तकरण की अब कार्यवायी की जा रही है।इस सम्बन्ध में जब जिलाधिकारी विकास गोठलवाल से प्रश्न किया गया कि अपराधिक छवि के इन व्यक्तियों को शस्त्र लाइसेन्स कैसे मिले और उनके अपराधिक इतिहास को दरगुजर करते हुए थानो से कैसे पुलिस की संस्तुति हुई तो उन्होने कहा कि पूरे जनपद में एक अभियान चलाकर अपराधिक छवि के लोगो केा चिन्हित करते हुए यदि उनके पास शस्त्र लाइसेन्स है तो उन्हे निरस्त किया जाएगा।
 पुलिस कार्यालय से प्राप्त सूचना के अनुसार मृतक जीतू मिश्रा के ऊपर गैंगस्टर एक्ट सहित 17 मुकदमें दर्ज रहे है जिसमें 16 नगर कोतवाली में तथा हत्या का एक मुकदमा सतरिख थाने में दर्ज है।इसी प्रकार राजू प्रधान के ऊपर नगर कोतवाली में तीन मुकदमे जिसमें बलवा,मारपीट,जान से मारने की धमकी इत्यादि शामिल है, दर्ज पाए गए।जबकि सरोज सिंह के ऊपर गुण्डा एक्ट सहित हत्या के प्रयास के तीन मुकदमें नगर कोतवाली में दर्ज पाए गए।समाचार प्रेषित किए जाने तक शेष अभियुक्त मनोज सिंह,बलराम ंिसह तथा तरुण सिंह का अपराधिक इतिहास नही मिल सका था,परन्तु इन सभी के पास लाइसेन्सी हथियार है।

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